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पागलपन पर कविताएँ

पागल और पागलपन के शीर्षक

भाव को ग्रहण कर अभिव्यक्त कविताओं से एक चयन।

मनोरोग

अर्चना लार्क

मुझसे पूछेंगे

रवि प्रकाश

पागल औरत

मंगलेश डबराल

मजनूँ

प्रियंका दुबे

क्या करूँगा, रघुवीर जी

नंदकिशोर आचार्य

पागल समय

नीलेश रघुवंशी

पागल

शीला सिद्धांतकर

ऐसी बहीं सनकी आँधियाँ

पद्मजा घोरपड़े

वो पागल

वसीम अकरम

एक कोशा हो गई पागल

ध्रुव शुक्ल

पगली

प्रतिभा शतपथी

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