रीतामणि वैश्य के बेला
ज़ुबिन गार्ग : समय जब ठहर जाए...
कोई मनुष्य कितना प्रिय हो सकता है, जीते जी इसका सही अंदाज़ा लगाना कठिन होता है। अपने जीवन काल में कई महानुभावों को इस संसार का मोह त्याग करते हुए हम सबने देखा होगा, उनकी अंतिम यात्रा में बड़ी भीड़ भी हम