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दयाराम के उद्धरण

हे मन! यदि तुझे क्रोध ही करना है तो क्रोध पर कर। निंदा ही करनी है तो अपनी देह की कर। द्रोह ही करना है तो अधर्म से कर, और स्नेह ही करना है तो भगवान से कर।

हिन्दवी उत्सव, 27 जुलाई 2025, सीरी फ़ोर्ट ऑडिटोरियम, नई दिल्ली

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