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तूने नहीं तो ज़रूर तेरे बाप ने किया होगा

tune nahin to zarur tere baap ne kiya hoga

एक बार एक मेमना पहाड़ी झरने से पानी पी रहा था। उसी समय उससे कुछ क़दम ऊपर एक चीता पानी पीने आया। मेमने को देखकर उसने कहा, “तू मेरा पानी गंदा क्यों कर रहा है?”

मेमना बोला, “मैं आप का पानी गंदा कैसे कर सकता हूँ? मैं तो आपसे नीचे पानी पी रहा हूँ।”

“तो कल किया होगा”, चीते ने कहा।

“कल तो मैं इधर आया ही नहीं!”

“तो ज़रूर वह तेरी माँ होगी।”

“मेरी माँ तो कब की मर गई। वे उसे घसीटकर ले गए।”

“तो ज़रूर तेरा बाप होगा।”

“मेरा बाप? मैं तो उसे जानता ही नहीं।” गुस्ताख़ मेमना बोला और भागने के लिए तैयार हो गया।

“उससे क्या! तेरे बाप ने नहीं तो ज़रूर तेरे दादा ने या परदादा ने मेरा पानी गंदा किया है। इसलिए मैं तुझे खाऊँगा।” यह कहकर चीता उस पर झपटा और मारकर खा गया।

स्रोत :
  • पुस्तक : भारत की लोक कथाएँ
  • संपादक : ए. के. रामानुजन
  • प्रकाशन : राष्ट्रीय पुस्तक न्यास भारत
  • संस्करण : 2001
हिंदी क्षेत्र की भाषाओं-बोलियों का व्यापक शब्दकोश : हिन्दवी डिक्शनरी

हिंदी क्षेत्र की भाषाओं-बोलियों का व्यापक शब्दकोश : हिन्दवी डिक्शनरी

‘हिन्दवी डिक्शनरी’ हिंदी और हिंदी क्षेत्र की भाषाओं-बोलियों के शब्दों का व्यापक संग्रह है। इसमें अंगिका, अवधी, कन्नौजी, कुमाउँनी, गढ़वाली, बघेली, बज्जिका, बुंदेली, ब्रज, भोजपुरी, मगही, मैथिली और मालवी शामिल हैं। इस शब्दकोश में शब्दों के विस्तृत अर्थ, पर्यायवाची, विलोम, कहावतें और मुहावरे उपलब्ध हैं।

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