Font by Mehr Nastaliq Web

रवींद्रनाथ टैगोर के उद्धरण

दुःख से होने वाला मिलन टूटने वाला नहीं है। इसमें न भय है और न संशय। आँसुओं से जो हँसी फूटती है वह रहती है, रहती और चिर दिन रहती है।

हिन्दवी उत्सव, 27 जुलाई 2025, सीरी फ़ोर्ट ऑडिटोरियम, नई दिल्ली

रजिस्टर कीजिए