राजस्थान के रचनाकार

कुल: 161

हिंदूवादी कवि। महाराणा प्रताप की शौर्यगाथा ‘विरुद छहतरी’ के लिए स्मरणीय।

सुपरिचित कवयित्री और गद्यकार।

नई पीढ़ी से संबद्ध कवि-लेखक और अनुवादक। 'नूह की नाव' शीर्षक से एक कविता-संग्रह प्रकाशित।

'चरनदासी संप्रदाय' से संबंधित संत चरणदास की शिष्या। कविता में सर्वस्व समर्पण और वैराग्य को महत्त्व देने के लिए स्मरणीय।

भक्तिकाल के निर्गुण संत। दादूपंथ के संस्थापक। ग़रीबदास, सुंदरदास, रज्जब और बखना के गुरु। राजस्थान के कबीर।

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